” आओ बच्चों इस होली में…. “

आओ बच्चों इस  होली  में

कुछ  नवीन  कर  डालें   !

ऊंच– नीच,  निर्बल  सबको  हम,

अपने  गले  लगा  लें   !

 

जिनके  पास  नहीं  कुछ  भी  है,

उनको  भी  हम  रंग  दें    !

मित्र  बना करके  उन  सबको,

हम  टोली  का  संग  दें   !

 

खाते  नहीं  मिठाई,  गुझिया,

कुछ  उनको  भी  बांटे   !

प्रेम  प्रीत  का  सबक  सिखायें,

न  दुत्कारे— डांटे   !

 

यह संदेश  पर्व  होली  का,

द्वार– द्वार  पहुँचायें   !

जीवन  जिये  सदा  परहित  में

वह  महान  कहलाये   !!

( साभार  )

राम कुमार दीक्षित ,  पत्रकार   !